गुरुवार, 22 अक्टूबर 2009
शिक्षा में गावं और गरीब
इस बीच लगातार व्यस्तता के कारण ब्लॉग पर नहीं बैठ पाया । कई गावों मैं घूमा कई लोगों से मिला गावों और पहाड़ को बिल्कुल करीब से देखा । मन को बाँध लेने वाले पानी के बहते गधेरे नदियाँ और हरियाली । लेकिन उतनी ही चिंताजनक अशिक्षा और गरीबी । शिक्षा, विशेष कर उच्च शिक्षा में तो गावं के लिए कोई जगह नहीं है । प्रतिभाओं के लिए भी नहीं , यदि जगह है तो धनी शहरियों के लिए । माननीय कपिल सिब्बल जी की शिक्षा नीति में तो गरीब ,गावं के लिए तो कोई जगह नहीं दिखाई दे रही है । वहाँ एक वर्ग विशेष है जिसके लिए गावं और गरीब का गला घोंटा जा रहा है । एक व्यापक वर्ग को वेहतर उच्च शिक्षा से वंचित रहना होगा माननीय कपिल सिब्बल जी की शिक्षा नीति से समाज के एक बड़े वर्ग के युवाओं में अपने भविष्य के प्रति घोर निराशा उत्पन्न होगी । जो कि समाज के लिए कोई अच्छा संकेत नहीं है ।
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